HI/681227b प्रवचन - श्रील प्रभुपाद लॉस एंजेलेस में अपनी अमृतवाणी व्यक्त करते हैं: Difference between revisions

 
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{{Audiobox_NDrops|HI/Hindi - श्रील प्रभुपाद की अमृत वाणी|<mp3player>https://s3.amazonaws.com/vanipedia/Nectar+Drops/681227BG-LOS_ANGELES_ND_02.mp3</mp3player>|"तो एक दिन में संपूर्ण विश्व तनिक भी माखन, धान, और गेंहू नहीं देखेगा। सभी कुछ ख़त्म हो जायेगा, क्योंकि कलियुग के उत्कर्ष के साथ सबकुछ इतना टूट जायेगा इतनी बुरी तरह कि सारी अपूर्तियाँ लगभग रुक जाएँगी। उस समय लोग बिलकुल पशुओं कि तरह रहेंगे। तो यही एकमात्र साधन है, कृष्ण भावना। इस युग में, सरल भाव से, तुम चाहे किसी भी परिस्थिति में हो, तुम मात्र बैठ कर गुणगान करो। इसमें कोई खर्च नहीं है, कोई नुकसान नहीं है। निष्कपटता से गुणगान करो हरे कृष्ण, हरे कृष्ण, कृष्ण कृष्ण, हरे हरे, और सभी देवता और परम पुरुषोत्तम भगवान सभी संतुष्ट हो जायेंगे। तुम्हें कोई मुश्किल नहीं होगी।"|Vanisource:681227 - Lecture BG 03.11-19 - Los Angeles|681227 - प्रवचन BG 03.11-19 - लॉस एंजेलेस}}
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Latest revision as of 02:15, 29 March 2020

HI/Hindi - श्रील प्रभुपाद की अमृत वाणी
"तो एक दिन में संपूर्ण विश्व तनिक भी माखन, धान, और गेंहू नहीं देखेगा। सभी कुछ ख़त्म हो जायेगा, क्योंकि कलियुग के उत्कर्ष के साथ सबकुछ इतना टूट जायेगा इतनी बुरी तरह कि सारी अपूर्तियाँ लगभग रुक जाएँगी। उस समय लोग बिलकुल पशुओं कि तरह रहेंगे। तो यही एकमात्र साधन है, कृष्ण भावना। इस युग में, सरल भाव से, तुम चाहे किसी भी परिस्थिति में हो, तुम मात्र बैठ कर गुणगान करो। इसमें कोई खर्च नहीं है, कोई नुकसान नहीं है। निष्कपटता से गुणगान करो हरे कृष्ण, हरे कृष्ण, कृष्ण कृष्ण, हरे हरे, और सभी देवता और परम पुरुषोत्तम भगवान सभी संतुष्ट हो जायेंगे। तुम्हें कोई मुश्किल नहीं होगी।"
681227 - प्रवचन BG 03.11-19 - लॉस एंजेलेस