HI/741216 प्रवचन - श्रील प्रभुपाद बॉम्बे में अपनी अमृतवाणी व्यक्त करते हैं
HI/Hindi - श्रील प्रभुपाद की अमृत वाणी |
"कृष्ण पूरे ब्रह्माण्ड में किसी न किसी विशेषता में मौजूद हैं। एक ब्रह्मांड में आप पाएंगे कि कृष्ण जन्म ले रहे हैं, जन्माष्टमी। किसी ब्रह्मांड में आप देखेंगे कि कृष्ण ग्वालो के लड़कों के साथ खेल रहे हैं। कहीं न कहीं यह ... इस तरह से है। इसलिए इसे नित्य-लीला कहा जाता है। नित्य-लीला का अर्थ है,जन्माष्टमी-लीला स्थायी रूप से या कहीं और चल रही है। इसलिए इसे लीलाया, यदुचैय्या कहा जाता है।" |
741216 - प्रवचन श्री.भा. ०३.२६.०४ - बॉम्बे |