HI/Prabhupada 1029 - हमारा धर्म वैराग्य नहीं कहता है । हमारा धर्म भगवान से प्रेम करना सिखाता है
रिपोर्टर: (तोड़)... भगवान के विशेष सेवक ।
प्रभुपाद: मैं सदैव भगवान का सेवक हूँ, यह तुम पर है कि तुम पहचानो, बस । मैं सदैव भगवान का सेवक हूँ, लेकिन यह तुम पर है कि तुम पहचानो ।
रिपोर्टर: क्या अापको कोई अंदाज़ा है कि यह संप्रदाय हर साल कितने पैसे बनाता है ?
प्रभुपाद: हम दुनिया के सारे पैसे खर्च कर सकते हैं । (हंसी)
भक्त: हरिबोल !
प्रभुपाद: दुर्भाग्य से, आप हमें पैसे नहीं देते ।
भक्त: हरिबोल ! (हंसी)
रिपोर्टर: क्या... अाप खर्च कैसे करते हैं, श्रीमान ?
प्रभुपाद: हम खर्च कर रहे हैं इस समय, प्रति माह कम से कम आठ लाख डॉलर ।
रिपोर्टर: किस पर, श्रीमान ?
प्रभुपाद: दुनिया भर में इस प्रचार पर । और हम हमारी किताबें बेच रहे हैं, प्रति माह चालीस हजार डॉलर से कम नहीं ।
रिपोर्टर: आपको काम करना पसंद है ?
प्रभुपाद: हाँ । क्या मतलब है ?
मधूद्विष: वह जानना चाहती है कि हमें काम करना पसंद है कि नहीं ?
प्रभुपाद: हम काम कर रहे हैं, तुमसे अधिक - चौबीस घंटे, मैं दुनिया भर में इस बुढ़ापे में यात्रा कर रहा हूँ ।
भक्त: हरिबोल !
रिपोर्टर: लेकिन अापको भीख माँगने से काफी पैसे नहीं मिलते ?
प्रभुपाद: नहीं, नहीं । पहले आप देखो । काम करना - तुम हमसे अधिक काम नहीं कर सकतीं, क्योंकि मैं बूढा अादमी हूं, उनासी साल का हूं, अौर मैं यात्रा करता हूं सदैव, दुनिया भर में दो बार, तीन बार हर साल । तुम इतना काम नहीं कर सकती हो ।
भक्त: हरिबोल! प्रभुपाद ।
मधुद्विष: बस एक और सवाल । हाँ ।
रिपोर्टर: श्रीमान, अापका धर्म बहोत वैराग्य का है । आप वैराग्य में रहेंगे मेलबोर्न में ? हमें बताया गया है कि आपको एक रोल्स रॉयस में ले जाया जाएगा ।
प्रभुपाद: हमारा धर्म वैराग्य का नहीं है । हमारा धर्म भगवान से प्रेम करना सिखाता है । तुम इस वस्र में भगवान से प्रेम कर सकते हो । कोई बुराई नहीं है ।
रिपोर्टर: लेकिन यह त्याग करने का धर्म है, है न ? "
प्रभुपाद: यह त्याग नहीं है । हम हर चीज़ का उपयोग करते हैं, त्याग कहॉ है ? हम केवल उतना ही उपयोग करते हैं जितना की बिल्कुल आवश्यक हो, बस ।
रिपोर्टर: लेकिन आप कैसे रोल्स रॉयस जैसी चीज़ों को समझाऍगे अौर रहने के लिए एक बहुत ही महंगा घर ?
प्रभुपाद: नहीं, हमें रोल्स रॉयस की अावश्यक्ता नहीं है, हम चल सकते हैं । लेकिन अगर तुम रोल्स रॉयस प्रेदान करो, मुझे कोई आपत्ति नहीं है ।
रिपोर्टर: क्या यह बेहतर नहीं होगा कि अाप एक बहुत छोटी कार में यात्रा करें, कम दिखावा ?
प्रभुपाद: क्यों ? अगर तुम मुझे यात्रा करने के लिए एक रोल्स रॉयस देते हो, तो क्यों मैं अस्वीकार करूं ? यह तुम पर मैं एहसान कर रहा हूं, मैं इसे स्वीकार करता हूं।
रिपोर्टर: श्रीमान, क्या आप संक्षेप में हमें बता सकते हैं कि क्यों अापने अमेरिका में हरे कृष्ण की स्थापना की है ।
प्रभुपाद: हॉ, कम से कम पूरी दुनिया अब हरे कृष्ण का जप कर रही है । जहॉ भी तुम जाओ वे हरे कृष्ण का जप कर रहे हैं ।